SEHRI KI DUA IN HINDI सेहरी की दुआ इन हिंदी

SEHRI KI DUA IN HINDI सेहरी की दुआ इन हिंदी
SEHRI KI DUA IN HINDI सेहरी की दुआ इन हिंदी

SEHRI KI DUA IN HINDI सेहरी की दुआ इन हिंदी सहरी की दुआ हिंदी में फोटो रोजा रखने की दुआ Hindi sehri ki dua hindi mein batao

जिस तरह से अंग्रेजी महीने के सप्ताह, दिन, तारीख होते है ठीक ऐसे ही इस्लाम धर्म में हिजरी कैलेंडर होता है इसी तरह हिजरी कैलेण्डर के खुद के महीने, दिन, तारीख के नाम होते है रमजान रोजा इस्लाम महीने का 9वा महीना है

इस्लाम धर्म में इस्लामिक महीनो के नाम पहले ही बताया गया है क्योंकि रमजान महीने में इस्लाम के मानने वाले रोजा रखते है इसलिए कहा जा सकता है रमजान रोजा इस्लाम धर्म का 9वा महीना है

रमजान इस्लामिक कैलेंडर के अनुसार का 9वा महीना है यह महीना 29/30 दिन का हो सकता है चाँद पर रमजान रोजा निर्भर करता है इस हिसाब से उम्मीद है 23 मार्च 2023 को रमजान रोजा रखा जाएगा

रमजान एक अरबी शब्द है जिसका मतलब चिलचिलाती गर्मी एंव सूखापन है हर साल रमजान के महीने में मुस्लिम लोग रोजा रखते है रोजा फ़ारसी शब्द है रोजा रखने के लिए सूर्य उगने से पहले थोड़ा पहले सेहरी (भोजन) किया जाता है रोजा सूर्य ढलने के बाद ख़त्म होता है जिसे इफ्तार के नाम से जाना जाता है

सेहरी एंव इफ्तार के बीच में, न कुछ खाते है न ही कुछ पीते है रोजेदार रोजे को पानी एंव खजूर खा कर तोड़ना अच्छा मानते है खजूर अल्लाह के नबी(सल्ललाहु अलैहि व सल्लम) को काफी पसंद था इसलिए यह परम्परा आज भी निभाया जा रहा है रमजान का महीना ईद के चाँद के साथ समाप्त होता है और ईद उल फित्र/मीठी ईद मनाया जाता है

SEHRI KI DUA IN HINDI सेहरी की दुआ इन हिंदी

SEHRI KI DUA IN HINDI

जो लोग SEHRI KI DUA IN HINDI पढ़ना चाहते है उनके लिए यहाँ लिखी हुई है इसे SEHRI की DUA को इस तरह से भी लोग खोज करते है रोजा रखने की दुआ

SEHRI KI DUA

सेहरी दुआ (नियत) को रोजा रखने की दुआ के नाम से भी जाना जाता है रोजा रखने (सेहरी) की दुआ, नियत के बारें में बताया गया है रोजा रखने की दुआ हिंदी में

रोजा रखने की दुआ: व बि सोमि गदिन नवई तु मिन शहरि रमजान

Roza Rakhne Ki Dua ENGLISH Wa bisawmi ghadinn nawaiytu min shahri ramadan

रोजा रखने की दुआ अरबी में: وَبِصَوْمِ غَدٍ نَّوَيْتُ مِنْ شَهْرِ رَمَضَانَ

IFTAR KI DUA

जब SEHRI करने के बाद और दिन भर रोजा रखने के बाद खाने का वक्त आता है उसे इफ्तार या फिर रोजा खोलना कहा जाता है ऐसे में IFTAR KI DUA या रोजा खोलना की दुआं हिंदी में लिखी हुई पढ़े

हिंदी में रोजा खोलने की दुआ: अल्लाहुम्म लका सुम्तु व अला रिज़क़िका अफतरत

Roza Kholne ki Dua: Allahumma inni laka sumtu wa bika aamantu wa ‘alayka tawakkaltu wa ‘ala rizq-ika aftarthu

रोजा खोलने की दुआ अरबी में (इफ्तार) “اَللّٰھُمَّ لَکَ صُمْتُ وَعَلٰ رِزْقِکَ اَفْطَرْتُ

Sehri Matlab: रमजान महीने में रोजा रखने से पहले सेहरी/हल्का भीजना/खाना करते है जो सुबह करीबन 4:30 बजे पर होता है सहरी सुबह के अजान, नमाज -ए- फजर से पहले किया जाता है

Iftar Matlab: दिन भर के रोज़े के बाद शाम का खाना, रोज़ा खोलना/इफ्तार कहलाता है इस्लाम समुदाय के लोग रमजान महीने में रोजा रहते है इसके लिए पहले सेहरी सूरज निकलने से पहले करते है उसके बाद शाम को मगरिब की नमाज के समय इफ्तार/खाना खाना करते है इसे ही इफ्तार कहा जाता है

रोजा रखने की नियत हिंदी में PHOTO

जल्दी ही रोजा रखने की नियत हिंदी में PHOTO के साथ यहाँ शेयर किया जायेगा रोजा रखने की दुआ (नियत) करने का तरीका पहले ही बता दिया गया है दुआ जिसके न याद हो वह इस तरह से भी रमजान की सेहरी की नियत कर सकता है

रोजा रखने की नियत हिंदी में: अल्लाह पाक आज मैंने रोजा रखने की नियत किया अल्लाह पाक जो रहम दिल वाला है इंशाल्लाह हर रोजा आपको कबूल फरमाए रोजा रखने से पहले रोजा की नियत करना बेहद जरुरी होता है

सेहरी खाने के लिए जागना एंव सेहरी करना रोजे की नियत के अंतर्गत आते है अगर रोजे की नियत जुबान से बोलकर किया जाए तो यह ज्यादा बेहतर माना जाता है रोजा की नियत क्या हर एक रोजा रखने के लिए किया जाता है?

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